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मातृभाषा में शिक्षा देने से विकसित होती है समझने की क्षमता-डॉ. सुमन्त व्यास

Teaching in mother tongue develops the ability to understand – Dr. Sumantay Vyas 13BKN PH-05

राष्‍ट्रीय उष्‍ट्र अनुसंधान केन्‍द्र में हिन्दी चेतना मास का समारोह सम्पन्न

NEERAJ JOSHI बीकानेर, (समाचार सेवा)  राजस्थान पशु चिकित्सा एवं पशु विज्ञान विश्वविद्यालय  (राजुवास) बीकानेर के कुलपति डॉ. सुमन्त व्यास ने कहा कि मातृभाषा में शिक्षा और संवाद से समझने की क्षमता तथा चिंतन की गहराई विकसित होती है। डॉ. व्‍यास सोमवार को राष्ट्रीय उष्ट्र अनुसंधान केन्द्र (एनआरसीसी) बीकानेर में 14 सितम्बर से प्रारम्भ हुए हिन्दी चेतना मास के समापन एवं पुरस्कार वितरण समारोह को मुख्‍य अतिथि के रूप में संबोधित कर रहे थे।

उन्‍होंने कहा कि हिन्दी केवल संवाद का माध्यम नहीं, बल्कि यह हमारी संस्कृति, आत्मीयता और सृजनशीलता की भाषा है। कुलपति डॉ. व्‍यास ने बताया कि अमेरिका, चीन, जापान और जर्मनी जैसे देशों ने अपनी वैज्ञानिक प्रगति में मातृभाषा को प्राथमिकता देकर उल्लेखनीय उपलब्धियाँ अर्जित की हैं। उन्होंने एनआरसीसी की राजभाषा संबंधी कार्यों एवं गतिविधियों की सराहना करते हुए कहा कि यह संस्थान उष्ट्र संरक्षण, विकास और उष्ट्र-पर्यटन के क्षेत्र में ही नहीं, बल्कि राजभाषा हिन्दीष के प्रगतिशील प्रयोग में भी एक प्रेरक उदाहरण प्रस्तुत कर रहा है।

कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए एनआरसीसी के निदेशक डॉ. अनिल कुमार पूनिया ने कहा कि हिन्दी  हमारी सांस्कृतिक पहचान और कार्य-संवेदनशीलता की भाषा है। इस अवसर पर केन्द्र के नोडल अधिकारी (राजभाषा) डॉ. राकेश रंजन ने हिन्दी चेतना मास के अंतर्गत आयोजित विविध प्रतियोगिताओं की जानकारी दी तथा भाषा के महत्त्व पर अपने विचार व्यक्त किए। कार्यक्रम का संचालन डॉ. राकेश कुमार पूनियां, तकनीकी अधिकारी द्वारा किया गया तथा धन्यवाद ज्ञापन अखिल ठुकराल, वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी ने प्रस्तुत किया।

प्रतियोगिताओं में ये रहे विजेता

हिन्दी चेतना मास के दौरान आयोजित हिन्दी निबंध प्रतियोगिता में डॉ. अरूणा कुनियाल ने प्रथम, रणवीर सिंह ने द्वितीय तथा डॉ. श्याम सुंदर चौधरी ने तृतीय स्थान प्राप्त किया। हिन्दीर टंकण प्रतियोगिता में अखिल ठुकराल प्रथम, डॉ. श्याडम सुंदर चौधरी द्वितीय तथा दिनेश मुंजाल तृतीय रहे। श्रुति लेखन प्रतियोगिता में नेताराम प्रथम, विक्रम मीणा द्वितीय तथा किशन कुमार तृतीय रहे।

हिन्दी  शोध-पत्र पोस्टर प्रदर्शन प्रतियोगिता में डॉ. सागर अशोक खुलापे व डॉ. स्वागतिका प्रियदर्शिनी ने संयुक्त रूप से प्रथम स्थान प्राप्त किया। डॉ. रतन चौधरी व डॉ. अरूणा कुनियाल संयुक्त रूप से द्वितीय और डॉ. विनोद कुमार यादव तृतीय स्थान पर रहे। हिन्दी क्विज प्रतियोगिता में डॉ. बसंती ज्योत्सना, दिनेश मुंजाल, मनीष सोनी, रणवीर सिंह एवं मीतपाल की टीम ने प्रथम स्थान प्राप्त किया।

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