मैं बढ़िया तू भी बढ़िया…पर मैं आजाद हूं चिड़िया..

PANCHNAMA-USHA JOSHI DAINIK NAVJYOTI BIKANER
PANCHNAMA-USHA JOSHI DAINIK NAVJYOTI BIKANER

पंचनामा : उषा जोशी

मैं बढ़िया तू भी बढ़िया…पर मैं आजाद हूं चिड़िया..

जांगळ देश के सफेद सोने वाले इलाके में अवैध खनन से कमाई करने का खाकी का धंधा पुराना है।

नये आला खाकीधारियों को भी इस पुराने धंधे से नये माल की उगाही के लिये इलाके में पुराने पोस्टेड रहे खाकीधारियों की ही मदद लेनी पड़ती है।

एक खाकीधारी की इसी महारत की वजह से वह कभी तो शिकायतों के आधार पर यहां से तबादला कर भेज दिया जाता है,

तो कभी फिर नये आये आला खाकीधारी उस क्षेत्र से मोटा माल पाने के लिये इस अदने से खाकीधारी को फिर वहां ले आते हैं।

कभी थानेदारजी के अधीन रहे व उनकी गाड़ी में अवैध जिप्सम खनन करने वालों से सेवा शुल्क लाने वाला यह अदना सा खाकीधारी सुना है,

अब सीआई से भी ऊंचे खाकीधारी की गाड़ी में बैठकर जिप्सम का अवैध खनन करने वालों व अवैध परिवहन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है और अपने आका को सेवा शुल्क की किस्ते पहुंचाकर खुश कर रहा है।

हां उसने इस कार्य के लिये संबधित थाने और बड़े साहब के बीच भी सेवा शुल्क बंटवारे में सेतु बनना भी स्वीकार कर लिया है।

जांगळ देश में बगैर खाकी की मदद से अवैध खनन व परिवहन का काम संभव नहीं है ऐसे में यहां अवैध खनन वाले भी बढ़िया और अवैध खनन करवाने वाले भी एक दूसरे को मैं भी बढ़िया तू भी बढ़िया कर अपनी गाड़ी खींच रहे हैं। जय हो।

* दुनिया जब जलती है, हाय रे बड़ा मजा आता है..

जांगळ देश में कुछ चोर उच्चके, कुछ बदमाश क्या सक्रिय हो गए यहां के लॉयन से जलने वालों को कहने का बहाना मिल गया।

कहने वाले दावा करते हैं कि जांगळ प्रदेश पर एमएन प्रभाव धीरे धीरे कम पड़ता जा रहा है।

चुनाव के चलते खाकीधारी भी दुनियादारी में अधिक व्यस्त हो गए हैं। लॉयन से जलने वालों ने पहले यह कहना शुरू किया था कि इस इलाके में  इतने बड़े खाकीधारी के लिये कोई अधिक काम नहीं है।

जब लॉयन ने अपने काम करने शुरू किए तो कईयों की दुकाने उठने लगी। अब थोड़े समय से शहर में अपराधियों के होसलें थोड़े से बुलंद दिखाई देने लगे तो कहने वालों ने लॉयन के क्रिया कलापों पर सवाल उठाने शुरू कर दिये हैं।

अरे भाई लोगों खाकीधारी ही नहीं इन दिनों तो पूरा देश ही चुनावी मोड पर है। ऐसे में खाकीधारियों को भी आये दिन चुनावी तैयारियों की बैठकों में शामिल होने, चुनाव में सुरक्षा की रणनीति बनाने में समय लगाना पड़ रहा है।

ऐसे में चोर, उच्चकों, बदमाशों की थोड़ी मौज हो गई तो उसे भी रोक दिया जाएगा। उसका भी प्रयास किया जाएगा। धरपकड़ भी होगी। प्लान बन रहे हैं।

* खाकी डाल-डाल, खादी पात-पात

जांगळ देश में राजधानी की ओर जाते एक हाईवे पर बने थाने में अपना अपना थानेदार लगाने के लिये खादी और खाकी की जंग मची हुई थी।

इलाके के सत्ता से जुड़े खादीधारी वहां अपना थानेदार लगाना चाहते थे तो खाकी महकमे के आलाधिकारी अपने बेस्ट खाकीधारी को वहां थानेदारी सौंपना चाहते थे।

खाकी के बस में कुछ समय के लिये टालमटोल करना ही था। सो खाकी ने किया मगर आखिरकार खादीधारी की डिजायर पर मुहर लगी और खादी की पसंद का खाकीधारी वहां थानेदार बना।

सुना है टाइगर ने बेस्ट खाकीधारी को थानेदारी करने के लिये डाल डाल दौड़ लगाई मगर इलाके के खादीधारी ने पात पात पर अपने आदमी बिठा रखे थे। जीत खादी की हुई।

पहले के बेस्ट थानेदार को लोब अब तक याद करते हैं, नये वाले का रिजल्ट अभी आना बाकी है।