बड़ों के चरणों में भावपूर्वक नमस्कार करने से आयु, बल, विद्या की होती है वृद्धि- मुनि शाश्वत रत्न
NEERAJJOSHI बीकानेर, (समाचार सेवा)। मुनि शाश्वत रत्न सागर ने कहा कि माता पिता, स्वजन, गुरुजन, उपकारी एवं अपने से बड़ों के चरणों में भावपूर्वक नमस्कार करने से आयु, बल, विद्या की वृद्धि होती है। मुनिश्री रविवार को रांगड़ी चौक के सुगनजी महाराज के उपासरे में बच्चों के लिये आयोजित शिविर में प्रवचन कर रहे थे।
उन्होंने पुण्य के 9 भेद का ज्ञान करवाते हुए कहा अन्न, पान, रहन, शयन, वस्त्र, मन, वचन, काया, व नमस्कार पुण्यों का अर्जन करने तथा पापों का विसर्जन करने की बात कही। शिविर में बच्चों को जैन संस्कार व शिक्षा देने वाले खेल भी खेलाए गए। श्री जिनेश्वर युवक परिषद के अध्यक्ष संदीप मुसरफ ने बताया कि यह शिविर सुगनजी महाराज के उपासरे में मुनि शाश्वत रत्न सागर व मुनि संवर रत्न सागर महाराज की निश्रा में आयोजित किया गया।
शिविर में मुनिवृंद ने बच्चों को संस्कारों की शिक्षा दी। उन्होंने बताया कि आचार्यश्री की निश्रा में सोमवार को रांगड़ी चौक के सुगनजी महाराज के उपासरे में साध्वीश्री चन्द्रप्रभा म.सा. के प्रवर्तिनी पदारोहण दिवस पर आयोजित तीन दिवसीय कार्यक्रमों का समापन दोपहर ढाई बजे सामूहिक सामयिक के बाद होगा।
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